राष्ट्रीय प्रदूषण नियंत्रण दिवस उन लोगों की याद में मनाया जाता है जिन्होंने भोपाल गैस त्रासदी में अपनी जान गँवा दी थी। 2 दिसंबर, 1984 को एमपी की राजधानी भोपाल स्थित यूनियन कार्बाइड कंपनी से एलआईसी या मिक गैस का रिसाव हुआ था। इस जहरीली गैस की चपेट में आकर हजारों लोग अपनी जान से हाथ धो बैठे थे। गैस त्रासदी में अपनी जान गंवाने वाले लोगों के सम्मान में यह दिवस मनाया जाता है। रिपोर्ट के मुताबिक, 500,000 से अधिक लोगों की एमआईसी की जहरीली गैस के रिसाव के कारण मृत्यु हो गयी थी। वहीं बाद में गैस त्रासदी से संबंधित बीमारियों के कारण लगभग 25000 लोगों की मौत हो गयी। ये पूरे विश्व में इतिहास की सबसे बड़ी औद्योगिक प्रदूषण आपदा के रूप में जाना जाता है।