गिरिडीह के जमुआ प्रखंड के रहने वाले हेमलाल महतो का स्टार्टअप जेएसपीआर एग्रो प्राइवेट लिमिटेड गोबर से ईंट बना रहा है। यह ईंट पूरी तरह से इको फ्रेंडली है. इससे बने घरों में रेडिएशन का असर काफी कम हो जाता है. साथ ही इससे तैयार घरों का तापमान सामान्य ईंटों से बने घरों की तुलना में 8 से 10 डिग्री सेल्सियस तक कम हो जाता है।
बताया गया कि गोबर के इस्तेमाल से बनी यह ईंट उच्च तापमान झेल सकती है।प्रभात खबर के मुताबिक हेमलाल महतो की ईंटों की गुणवत्ता पर आइआइटी आइएसएम जैसे संस्थान ने अपनी मुहर लगा दी है। हेमलाल महतों ने बताया कि यह इको फ्रेंडली ईंट लाल व फ्लाइ ऐश की ईंट से काफी मजबूत है साथ ही इसका वजन सामान्य ईंट से 40 % कम है। उन्होंने यह भी बताया कि इस ईंट की आयु सामान्य ईंट से काफी अधिक है। इस ईंट के प्रयोग से घर गर्मी के मौसम में ठंडा और ठण्ड के मौसम में गर्म रहता है। हालाँकि उन्होंने बताया कि इस ईंट की कीमत सामान्य ईंट से करीब 50 प्रतिशत अधिक है लेकिन फिर भी इसका इस्तेमाल करने से घर का कुल निर्माण लागत कम पड़ता है। क्योंकि इसके इस्तेमाल के बाद सीमेंट की जरूरत कम मात्रा में पड़ती है, साथ ही वेदर कोट की जरूरत नहीं पड़ती है। श्री महतो बताते हैं कि गोबर की ईंट को तैयार करने में कई तरह के सामान का उपयोग होता है. इसमें 70 से 75 प्रतिशत गोबर और शेष 25 फीसदी में चूना, मिट्टी, ग्वार आदि होता है।










